न्यायालय के आदेश का सम्मान कर उपनल कर्मियों को नियमित करे सरकार: आर्य – News Debate

न्यायालय के आदेश का सम्मान कर उपनल कर्मियों को नियमित करे सरकार: आर्य

देहरादून। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य ने कहा कि सरकार को कुंदन सिंह मामले में 2018 के उच्च न्यायालय के आदेश का सम्मान करते हुए उपनल कर्मचारियों को समान कार्य के लिए समान वेतन और नियमितीकरण की मांग मान लेनी चाहिए। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, 2018 के उच्च न्यायालय के आदेश का पालन करवाने की मांग को लेकर उपनल कर्मी पिछले कई दिनों से धरने पर डटे हुए हैं इस धरने के दौरान 2 उपनल कर्मियों की मृत्यु भी हो चुकी है।

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, कुंदन सिंह मामले में न्यायालय के आदेश का पालन करने के बजाय सरकार ने पहले उच्च न्यायालय की डबल बेंच में अपील की फिर उच्चतम न्यायालय में भी याचिका और पुनर्विचार याचिका दाखिल की है। लेकिन सरकार को कभी भी सफलता नहीं मिली, उल्टा सरकार को न्यायालय से झाड़ भीं पड़ी है। श्री यशपाल आर्य ने कहा कि, उपनल कार्मियों ने सरकार द्वारा न्यायालय का आदेश न मानने पर उच्च न्यायालय में अवमानना याचिका दायर की है। अवमानना पर सुनवाई के दौरान सरकार को कई बार बुरी तरह झाड़ पड़ी है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा है कि, उत्तराखंड में वर्तमान में लगभग 22,000 उपनल कर्मचारी कार्यरत हैं, इनमें से लगभग 8,000 कर्मचारी 10 साल से ज्यादा समय से सेवा दे रहे हैं । उन्होंने कहा कि, 2013 कि नियमितीकरण नीति के अनुसार अब 10 साल से अधिक सेवा कर चुके कर्मचारियों को नियमित किया जा सकता है। श्री ने कहा कि, ये कर्मचारी कई सरकारी विभागों, अस्पतालों, शिक्षण संस्थानों और तकनीकी सेवाओं में कार्यरत हैं। नियमितीकरण और समान कार्य समान वेतन लागू न होने के कारण और अनिश्चितता के माहौल से उपनल कर्मियों में भारी निराशा है।
श्री आर्य ने कहा कि, सरकार ने प्रदेश में छह माह के लिए एस्मा लागू कर कर्मचारियों के आंदोलन पर प्रतिबंध लगा दिया है। उन्होंने कहा कि एक ओर सरकार न्यायालय के आदेशों को नहीं मान रही है दूसरी ओर एस्मा जैसे तानाशाही पूर्ण निर्णयों से अपनी नीतिगत असफलताओं और अक्षमता को छुपाने की कोशिश कर रही है।
उन्होंने कहा कि माननीय उच्चतम न्यायालय ने भी कहा है कि समान कार्य समान वेतन हर कर्मचारी का मौलिक हक है। संविधान के अनुच्छेद 14, 16 और 39(क) इस अधिकार की गारंटी देते हैं। फिर भी उपनल, संविदा और अस्थायी कर्मचारियों को आज भी स्थायी कर्मचारियों से कम वेतन देना सीधा-सीधा अन्याय है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, कांग्रेस की मांग है कि नियमितीकरण नीति के अधीन आने वाले सभी उपनल कार्मिकों के अलावा राज्य की सभी संविदा, दैनिक वेतन भोगी और तदर्थ कार्मिकों के नियमितीकरण की प्रक्रिया अतिशीघ्र शुरू की जाय। उन्होंने कहा कि सरकार को इन कार्मिकों को नियमित करते समय अनुसूचित जाति, जनजाति, पिछड़ा वर्ग, महिलाओं और राज्य में प्रचलित अन्य आरक्षण को भी ध्यान में रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि, सरकार ने यदि उपनल कर्मचारियों एस्मा लागू किया है तो उसे शीघ्र वापस लेना चाहिए। श्री यशपाल आर्य ने कहा कि, कर्मचारियों के हक, अधिकार और सम्मान की इस लड़ाई में कांग्रेस कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है, उनके दमन की स्थिति में कांग्रेस उनका पूरा साथ देगी।

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